मप्र में दीपावली के पहले बिजली उत्पादन ठप,THC की दो इकाइयां बंद, तीसरी भी खराब !

भोपाल। दिवाली के ऐन पहले बिजली उत्पादन कम हो रहा है। टोंस हाइडल कार्पोरेशन सिरमौर की विद्युत उत्पादन इकाइयों की स्थिति ठीक नहीं है। इन दिनों दो इकाइयां पूरी तरह से ठप हैं और उनमें मेंटेनेंस का कार्य चल रहा है। वहीं एक यूनिट में उत्पादन हो रहा है लेकिन उसमें भी तकनीकी खामियां सामने आई है। प्रबंधन मेंटेनेंस की तैयारी कर रहा है, साथ ही इस इकाई को बंद नहीं करना चाह रहा है, यदि यह इकाई बंद की गई तो पूरा प्लांट ठप हो जाएगा। इससे पहले से ही सवालों में घिरे टीएचसी प्रबंधन की मुश्किल और बढ़ जाएंगी। इस पॉवर प्लांट में 105-105 मेगावाट क्षमता की तीन इकाइयां हैं। जिसमें दो के बंद होने से उत्पादन का पूरा भार एक इकाई यूनिट नंबर दो पर आ गया है। कहा जा रहा है कि कभी भी इसमें बड़ी खराबी आ सकती है, इसके बावजूद मेंटेनेंस को लेकर कोई कदम नहीं उठाया गया है। तकनीकी रूप से आ रही खामियों के चलते इससे हर दिन दस से 15 लाख यूनिट ही बिजली का उत्पादन किया जा रहा है।
टीएचसी की यूनिट नंबर तीन ढाई वर्ष से बंद है। यह 14 जून 2020 को तकनीकी खराबी के चलते बंद हो गई थी। कोरोना काल में मेंटेनेंस शुरू कराने में समय लग गया। बाद में बीएचईएल के इंजीनियरों ने मेंटेनेंस शुरू किया। इसका कार्य 13 जुलाई को पूरा हुआ और बिजली उत्पादन प्रारंभ किया गया। इसके कुछ दिन बाद ही अगस्त में फिर से यूनिट ठप हो गई। इसमें लापरवाही की वजह से अधीक्षण यंत्री एचएस तिवारी को निलंबित भी कर दिया गया है। अब एमपी पॉवर जनरेटिंग कंपनी ने मामले में स्टेटस रिपोर्ट के साथ सभी अफसरों की जिम्मेदारियों से जुड़ी रिपोर्ट तलब कर दी है।
यूनिट नंबर एक का मेंटेनेंस भी रुका
दस महीने पहले खराब हुई यूनिट नंबर एक से भी बिजली का उत्पादन पूरी तरह से ठप पड़ा है। इसका मेंटेनेंस बीएचईएल के इंजीनियर्स कर रहे थे। इसी दौरान यूनिट नंबर तीन में दोबारा खराबी आ गई, जिसकी वजह से यूनिट नंबर एक का काम रोककर तीन में टीम लगा दी गई है। प्रबंधन से जुड़े अधिकारियों का कहना है कि यूनिट नंबर एक की पूरी मशीन की रिपेयरिंग होनी है और कई पार्ट बदले जाने हैं, जिसमें एक वर्ष का समय लग सकता है। इस कारण प्रयास है कि पहले तीन नंबर की यूनिट से उत्पादन प्रारंभ हो जाए।
नहर में मलबा जमा
सिरमौर की विद्युत उत्पादन इकाई के लिए पानी नहर के माध्यम से पहुंचाया जाता है। यह बड़े आकार की नहर है, जिसमें पानी के साथ मलबा भी आता है। इसकी भी नियमित सफाई कराए जाने का प्रावधान है। कुछ समय पहले सफाई की गई थी लेकिन फिर से नहर में मलबा जमा हो गया है। पानी के साथ मिट्टी, बालू और कंकड़ बहकर प्लांट तक पहुंच रहा है। बारिश में पानी के साथ अधिक मात्रा में मलबा आता है। सिरमौर के एडिशनल चीफ इंजीनियर टीएचसी आरबीएस तिवारी के अनुसार विद्युत उत्पादन इकाई में आई खराबी का सुधार कार्य चल रहा है। उम्मीद है कि 31 अक्टूबर तक यह कार्य पूरा हो जाएगा और उत्पादन का कार्य पहले की तरह प्रारंभ होगा।